महिलाओं के अवदान के बिना विकसित समाज की संकल्पना को मूर्त रुप नहीं दिया जा सकता। महिला सशक्तिकरण की दिशा में न्यास द्वारा उन्हें आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में प्रशिक्षण दिया जाता है। कौशल व नेतृत्व विकास से जुड़े प्रशिक्षण के साथ आत्मरक्षा के विषय पर भी उनमें जागरुकता कार्यक्रम किए जाते हैं। सिलाई-कढ़ाई, गुलदस्ता, वस्त्र निर्माण, खाद्य सामग्री निर्माण सहित अनेक प्रकार के प्रशिक्षण दिलाने के साथ ही हम उन्हें संसाधनों की उपलब्धता भी सुनिश्चित कराते हैं। आर्थिंक-सामाजिक विकास के निमित्त नयास द्वारा अब तक दो सिलाई-कढ़ाई केंद्र तथा एक मार्शल आर्ट प्रशिक्षण केंद्र की स्थापना की जा चुकी है। इसके साथ ही सामाजिक बदलाव की दिशा में नियमित रुप से जागरुकता कार्यक्रम का आयोजन किया जाता है।